फैटी लिवर के लक्षण और कारण: जांच और उपचार की जानकारी
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लीवर मानव शरीर के समस्त स्वास्थ्य को बनाए रखने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। यह 200 से अधिक कार्य करने के लिए जाना जाता है, लेकिन इसका मुख्य कार्य शरीर से विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालना, भोजन से पोषक तत्वों को संसाधित करना, वसा को तोड़ना और रक्त को डिटॉक्सीफाई करना है। पेट और आंतों में जाने वाला सारा रक्त शरीर में कहीं और जाने से पहले लीवर के माध्यम से फ़िल्टर किया जाता है।
जब लीवर ठीक से काम नहीं करता है, तो मानव शरीर में समस्याएं होने की अधिक संभावना होती है, और फैटी लीवर उनमें से एक समस्या है। फैटी लीवर रोग तब होता है जब लीवर सामान्य रूप से वसा को संसाधित और विघटित नहीं करता है। यह ब्लॉग आपको फैटी लीवर रोग के बारे में अधिक विस्तार से बताएगा, जिसमें लक्षण, कारण, जाँच और फैटी लीवर के उपचार शामिल हैं।
फैटी लीवर क्या होता है ?
फैटी लीवर एक ऐसी बीमारी है जो तब होती है जब आपके लीवर की कोशिकाओं में बहुत अधिक वसा जमा हो जाता है। इस बीमारी को हेपेटिक स्टीटोसिस के नाम से भी जाना जाता है। आपके लिवर में थोड़ी मात्रा में वसा जमा होना कोई समस्या की बात नहीं है, लेकिन जब वसा आपके लिवर के वजन के 5% से 10% तक आ जाती है, तो यह एक गंभीर समस्या का रूप ले सकती है।
आपके लीवर में बहुत अधिक वसा जमा होने से लीवर में सूजन हो सकती है, जो आपके लीवर को नुकसान पहुंचा सकती है और घाव बना सकती है। इस घाव के कारण आपका लीवर खराब हो सकता है और यहां तक कि आपकी मृत्यु भी हो सकती है।
फैटी लीवर के प्रकार
फैटी लीवर मुख्य रूप से दो प्रकार के होते हैं:
- अल्कोहलिक फैटी लीवर रोग (AFLD)
- गैर-अल्कोहल फैटी लीवर रोग (NAFLD)
फैटी लीवर रोग के लक्षण
फैटी लिवर की बीमारी से पीड़ित व्यक्ति को अक्सर तब तक कोई लक्षण अनुभव नहीं होता जब तक कि रोग बढ़कर लीवर के सिरोसिस में नहीं बदल जाता। जिन लोगों को फैटी लिवर की बीमारी है उनमें निम्नलिखित लक्षण हो सकते हैं:
- पेट में दर्द: फैटी लिवर से पीड़ित लोगो को अक्सर पेट के ऊपरी दाहिने हिस्से में तेज दर्द महसूस होता हैं।
- थकान: अत्यधिक थका हुआ तथा अस्वस्थ महसूस करना भी फैटी लिवर का एक लक्षण है।
- मानसिक उलझन: जिन वक्तियो में फैटी लिवर की समस्या होती है वो प्राय ही मानसिक उलझन में रहते हैं ।
- पीलिया: फैटी लिवर के कारण आँखों और त्वचा रंग पीला पड़ जाता हैं , जिसे पीलिया कहते हैं।
- खुजली: त्वचा पर हलकी खुजली होना आम बात हैं पर अगर आपको अधिक या लगातार खुजली हो रही हैं तो ये फैटी लिवर का कारन हो सकता हैं।
- वज़न घटना: अस्पष्टीकृत वज़न घटना।
- सूजन: इस रोग के कारन अक्सर पेट और पैरों में सूजन आ जाती हैं।
- कमजोरी: यह रोग होने की वजह से अत्यधिक थकन भी होती हैं।
फैटी लीवर रोग के कारण
ऐसी कई स्वास्थ्य स्थितियाँ हैं जो फैटी लीवर रोग का कारण बन सकती हैं, लेकिन कुछ लोगों में बिना किसी पूर्व-मौजूदा स्थिति के फैटी लीवर रोग की सूचना मिल जाती है।
फैटी लीवर के कुछ ससामान्य कारण निम्नलिखित हैं:
- अधिक वजन/मोटापा होना
- टाइप 2 मधुमेह या इंसुलिन प्रतिरोध होना
- उच्च रक्तचाप या उच्च ट्राइग्लिसराइड्स होना
- शराब का अत्यधिक सेवन
- पॉलीसिस्टिक ओवरी सिंड्रोम (PCOS) होना (यह समस्या लड़कियों में देखी जा सकती हैं।
- कुछ दवाएं, जैसे कॉर्डारोन, डिल्टियाज़ेम, टैमोक्सीफेन, या स्टेरॉयड का अधिक सेवन करना
- फैटी लिवर रोग का पारिवारिक इतिहास।
फैटी लिवर के लिए लिवर की जांच
फैटी लिवर की जाँच के लिए किसी विशेषज्ञ से परिक्षण करना आवशयक होता है। फैटी लीवर रोग बिना किसी लक्षण के भी हो सकता है। आमतौर पर इसका निदान तब होता है जब आप अपने लीवर की जांच के लिए नियमित रक्त परीक्षण कराते हैं। अगर परिक्षण के परिणाम असमान्य आये तो आपके चिकित्सक को असामान्य परीक्षण परिणामों से फैटी लीवर रोग का संदेह हो सकता है, खासकर यदि आप मोटे हैं।
फैटी लिवर की जाँच के लिए किसी विशेषज्ञ से परिक्षण करना आवशयक होता है। फैटी लीवर रोग बिना किसी लक्षण के भी हो सकता है। आमतौर पर इसका निदान तब होता है जब आप अपने लीवर की जांच के लिए नियमित रक्त परीक्षण कराते हैं। अगर परिक्षण के परिणाम असमान्य आये तो आपके चिकित्सक को असामान्य परीक्षण परिणामों से फैटी लीवर रोग का संदेह हो सकता है, खासकर यदि आप मोटे हैं।
आपके लीवर के इमेजिंग अध्ययन में वसा जमा होना दिखाई दे सकता है। विशेष अल्ट्रासाउंड और MRI स्कैन सहित कुछ इमेजिंग परीक्षण रोग का निदान करने और लिवर में निशान ऊतक का पता लगाने में मदद कर सकते हैं। लेकिन यह सुनिश्चित करने का एकमात्र तरीका कारण लीवर बायोप्सी है। लीवर बायोप्सी में सुई से आपके लीवर के ऊतक का नमूना लेना शामिल होता है। सुई लिवर ऊतक का एक छोटा सा टुकड़ा निकालती है जिसे माइक्रोस्कोप के नीचे देखा जा सकता है। यहां बताया गया है कि आपका चिकित्सक निदान कैसे करता है:
यदि आपके पास वसा है लेकिन कोई सूजन या ऊतक क्षति नहीं है, तो निदान NAFLD है।
यदि आपको वसा, सूजन और लिवर क्षति है, तो निदान NASH है।
यदि आपके लीवर में फाइब्रोसिस नामक एक प्रकार का निशान ऊतक है, तो आप सिरोसिस विकसित कर सकतेतो आपको सिरोसिस हो सकती हैं।
फैटी लिवर रोग के रोकथाम और इलाज
रोकथाम
फैटी लीवर को रोकने का सबसे अच्छा तरीका ऐसी चीजें करना है जो सम्पूर्ण स्वास्थ्य को बनाए रखें, जैसे:
स्वस्थ आहार लें जिसमें अधिक फल, सब्जियाँ और साबुत अनाज शामिल।
अपने वज़न को सामान्य स्तर पर बनाए रखे।
अपने खाने में वसा की मात्रा को कम करे।
अधिक चीनी वाले खाद्य पदार्थों और पेय पदार्थ न खाये।
शराब का सेवन कम करे।
धूम्रपान करना बंद करे।
नियमित रूप से व्यायाम करे।
शारीरिक गतिविधि बढ़ाएँ।
अपने मधुमेह पर नियंत्रण रखें।
इलाज
आप फैटी लीवर रोग का इलाज कैसे कर सकते हैं? अगर आप भी हमेशा यही सोचते रहते हैं तो यह जान ले की फैटी लीवर रोग के इलाज के लिए कोई विशिष्ट दवा नहीं है। लिवर प्रबंधन के लिए जीवनशैली में बदलाव करना शामिल है जो समस्थ स्वास्थ्य में सुधार कर सकता है।
मधुमेह और कोलेस्ट्रॉल को नियंत्रित करने के लिए दवा लें।
वजन कम करें
शराब से बचें।
लिवर डेटॉक्स के लिए आयुर्वेदिक दवा लें।
आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियाँ जैसे कुटकी, और भूमि आमलकी, तथा पुनर्नवा आदि का उपयोग करे।
निष्कर्ष
फैटी लिवर एक ऐसी बीमारी हैं जिसमे लिवर की कोशिकाओं में वासा अधिक मात्रा में जमा हो जाता है जिसकि वजह से थकान, तव्चा व आँखों का पीलापन, पेट के ऊपरी दाहिने हिस्से में तेज दर्द, मानसिक उलझन, और वज़न का घटना जैसे लक्षण शामिल हैं। फैटी लीवर रोग अधिक शराब का सेवन करने, मोटापा, उच्चरक्तचाप जैसे कारणों से हो सकता हैं। इसके उपचार क लिए पहले इसकी जांच कर निश्चित होना ज़रूरी हैं की आपको सच में फैटी लिवर हैं या नहीं। इसकी जांच काने क लिए आप किसी भी नज़दीकी अस्पताल में जाकर चिकित्सक से सलाह ले सकते हैं। इस बीमारी के उपचार एवं रोकथाम के लिए ज़रूरी हैं की आप अपने जीवनशैली में सुधार जैसे संतुलित आहार खाना, अपने वज़न को सामान्य स्तर पर रखना, शराब का सेवन कम करना शामिल हैं। फैटी लिवर के उपचार के लिए आप दवाइया जैसे आयुर्वेदिक दवाइया या जड़ी बुटिया जैसे भूमि अमला, पुनर्नवा, या कुटकी का सेवन कर सकते हैं।
FAQs
फैटी लिवर क्या है?
फैटी लिवर एक ऐसी स्थिति है जिसमें लिवर में असामान्य रूप से अधिक वसा जमा हो जाता है।
फैटी लिवर के क्या लक्षण होते हैं?
इसके लक्षणों में थकान, वजन बढ़ना, और पेट में दर्द शामिल हो सकते हैं।
फैटी लिवर के क्या कारण हो सकते हैं?
इसके कारणों में मोटापा, डायबिटीज, और शराब का अत्यधिक सेवन शामिल हैं।
फैटी लिवर की जांच कैसे होती है?
फैटी लिवर की जांच अल्ट्रासाउंड, सीटी स्कैन या रक्त परीक्षण से होती है।
फैटी लिवर का उपचार क्या है?
उपचार में वजन कम करना, व्यायाम, और संतुलित आहार शामिल हैं।
क्या फैटी लिवर के लिए आहार में परहेज करना चाहिए?
हां, फैटी लिवर के लिए तला हुआ और चीनी युक्त भोजन से परहेज करना चाहिए।
फैटी लिवर का इलाज कैसे किया जाता है?
इलाज में जीवनशैली में बदलाव, दवाइयाँ, और कभी-कभी चिकित्सा प्रक्रियाएँ शामिल हो सकती हैं।